रविवार को देर रात फिर से सीमा पार से आंतकियों ने सैन्य शिविर में घुसपैठ करने की कोशिश की। हमला रात को करीब साढे दस बजे उडी के पास बारामुला की सेना चौकी के पास हुआ। यहां राष्ट्रीय रायफल्स की 46 वीं टुकडी तैनात थी ।
भारतीय सेना ने चरमपंथियों के हमले को विफल करने की पूरी कोशिश किया। सेना और आतंकियों के बीच मुठभेड रात के एक बजे तक चलती रही।
मुठभेड मे दो चरमपंथियों को मार गिराया जबकि सेना का एक जवान शहीद हो गया और तीन घायल हो गये हैं। सेना के मुताबित करीब सात आतंकी अभी आसपास के इलाकों में जा छुपे है उनकी तलाश चल रही है। सेना की कोशिश आतंकियो को जिन्दा पकडने की है ताकि उनके और भी ठिकानों के बारे मे पता लगाया जा सके।
सीमा सुरक्षा बल के महानिदेशक ने हमले की पूरी जानकरी गृहमंत्री राजनाथ सिंह को रात ही में दे दी थी। तबसे रक्षा मंत्री और गृहमंत्री दोनो ही लगातार इस मामले पर नजर रखे हुए हैं। सेना से हुई इस चूक को लेकर आला अधिकारियों ने आज बैठक भी की और सीमा पर चैकसी बढा दी गयी है।
सर्जिकल आॅपरेशन के बाद सीमा पर तनाव देखते हुए चैकसी बढ़ा दी गयी थी और आसपास के रिहायसी इलाकों को भी खाली करने को कहा गया था। लेकिन इस बात की जांच की जा रही है कि आखिर इतनी चैकसी के बावजूद आतंकी सीमा पार कर के चैकी तक कैसे आ गये।
सीमा पर यह तनाव 18 अक्टूबर को बिहार रेजिमेंट और ंपैरामिलीट््री फोर्स के जवानो के सिफ्टींग के दौरान हुए आतंकी हमले के बाद से हुआ था।
इसमे सेना के 17 जवान शहीद हुए थे। इस हमले में मिले साक्ष्य से यह साबित हो गया था कि हमला पड़ोसी मुल्क पाकिस्तान से हुआ था।
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